एनकाउंटर स्पेशलिस्ट प्रदीप शर्मा को फर्जी एनकाउंटर केस में उम्रकैद की हुई सजा बॉम्बे हाईकोर्ट ने साल 2006 में गैंगस्टर छोटा राजन के करीबी सहयोगी लखन भैया के फर्जी एनकाउंटर मामले में पूर्व पुलिसकर्मी प्रदीप शर्मा को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है. लखन भैया की हत्या और साजिश के लिए तीन पुलिस अधिकारी तानाजी देसाई, प्रदीप सूर्यवंशी और दिलीप पलांडे को दोषी ठहराया है. साथ ही मुठभेड़ में सहायता करने और उकसाने के लिए रत्नाकर कांबले, शैलेन्द्र पांडे, हितेश सोलंकी, अखिल खान उर्फ बॉबी, विनायक शिंदे, मनु मोहन राज, सुनील सोलंकी, नितिन सरतापे, मोहम्मद शेख, देवीदास सकपाल, जनार्दन भांगे, प्रकाश कदम, गणेश हरपुडे, आनंद पटाडे, पांडुरंग कोकम, संदीप सरदार, सुरेश शेट्टी और अरविंद सरवनकर सहित अन्य 17 लोगों को दोषी ठहराया था.आप सभी को ये भी बता दें कि प्रदीप शर्मा मूल रूप से यूपी के आगरा निवासी हैं 1983 में इनका महाराष्ट्र पुलिस में चैन हुआ था फिर अंडरवर्ड का सफाया करने वाली टीम का हिस्सा बने 25 साल की पुलिस सेवा में प्रदीप शर्मा ने 113 एनकाउंटर किए हैं




